अधिकांश महिलाओं को अपने जीवन में कभी ना कभी यूटीआई यानी मूत्र पथ का संक्रमण होता ही है. यह मूत्राशय और इसकी नली में बैक्टीरिया के संक्रमण की वजह से होता है. हालांकि यह संक्रमण पुरुषों में भी हो सकता है लेकिन उनकी तुलना में महिलाओं में यह समस्या अधिक देखने को मिलती है. हेल्थलाइन के मुताबिक, यूटीआई का संक्रमण ईकोलाई बैक्टीरिया के सक्रिय होने की वजह से होता है. आम तौर पर इसके होने की वजह फ्रिक्वेंटली अनप्रोटेक्टेड सेक्स करना, मेनोपॉज, गर्भनिरोधक का अत्यधिक उपयोग, लो इम्यूनिटी, एंटीबायोटिक दवाओं का अधिक उपयोग, शुगर की समस्या, मूत्राशय को पूरी तरह से खाली न करना आदि हैं.
क्या हैं लक्षण
यूटीआई की समस्या होने पर सबसे पहले मूत्र संबंधी समस्याएं देखने को मिलती है. इसके अलावा, मूत्रमार्ग और मूत्राशय की परत में सूजन, पेशाब करने में दर्द या जलन महसूस होना, बार-बार पेशाब आना, पेशाब से बदबू आना, पेशाब से खून आना, पेट के निचले हिस्से में दर्द होना, हल्का बुखार, कभी-कभी ठण्ड के साथ कंपकंपी आना, जी मिचलाना आदि इसके लक्षण हैं.
कैसे करें बचाव
1.जनांगों की सफाई जरूरी
हेल्थलाइन के मुताबिक, टॉयलेट के उपयोग के बाद अपने जनांगों को अच्छी तरह आगे से लेकर पीछे तक जरूर पोछें. यह आदत गूदा से मूत्र मार्ग में इकोलाई बैक्टीरिया के प्रवेश के जोखिम को कम कर देती है.
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अगर आप दिनभर अच्छी मात्रा में पानी पीते हैं तो यूरीन के साथ सारे बैक्टीरिया फ्लश हो जाते हैं. ऐसे में महिलाओं को भरपूर पानी पीने की आदत डालनी चाहिए.
3.टॉयलेट जाने में आलस ना करें
अगर आपको पेशाब लगी है तो उसे रोकें नहीं. हर 3 से 4 घंटे में यूरीन पास जरूर करें. प्रेगनेंट महिलाओं को तो इस बात का विशेष ध्यान रखने की जरूरत है.
4.सेक्स के तुरंत बाद टॉयलेट जाएं
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सेक्शुअल ऐक्टिविटी के बाद यूटीआई की संभावना ज्यादा बढ़ जाती है. ऐसे में सेक्स के पहले और बाद में जरूर टॉयलेट जाएं और पेशाब करें. हो सके तो जनांगों को पानी से साफ भी करें.
5.इन चीजों का ना करें प्रयोग
पीरियड के दौरान खुशबूदार पैड, टैम्पॉन आदि की जगह नॉर्मल पैड सेहत के लिए ज्यादा बेहतर है. इसके अलावा, गुप्तांगों के आसपास खुशबू वाले पाउडर, डियोड्रेंट स्प्रे, खुशबूदार साबुन, खुशबूदार तेल आदि कतई प्रयोग में ना लाएं.
प्रोबायोटिक भोजन यानी दही, फरमेंटेड फूड आदि को भोजन में शामिल करें. ये आपके गट में मौजूद गुड बैक्टीरिया को बढ़ाएंगे जो आपको संक्रमण से बचाने का काम करेंगे.
7.क्रैनबेरी का करें सेवन
क्रैनबेरी यूटीआई से बचाव में बहुत ही कारगर फल है. इसका प्रयोग बरसों से घरेलू उपचार में किया जाता है. इसमें कई तत्व हैं जो यूटीआई के संक्रमण की संभावना को दूर रखते हैं.